Breaking News
कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने गल्जवाड़ी में 92 लाख की लागत से बनने वाले सामुदायिक भवन का किया शिलान्यास
मुख्यमंत्री धामी ने उच्चाधिकारियों के साथ की समीक्षा बैठक, दिए सख्त निर्देश
एक देश एक चुनाव से और अधिक सशक्त होगा लोकतंत्र – मुख्यमंत्री
खनन माफियाओं पर शिकंजा, पौड़ी खनन विभाग ने कमाए 29.62 करोड़ रुपये
2009 के बाद पहली बार निर्धारित समय से पहले दस्तक देगा मानसून, मौसम विभाग ने दी जानकारी
पदक विजेताओं को नगद इनाम के लिए पैसा जारी, खेल मंत्री रेखा आर्या ने जताया मुख्यमंत्री का आभार
भारत से हारने की खुशी में मुनीर को पाक ने पहनाया हार- महाराज
चुनाव में पारदर्शिता के लिए आयोग सख्त, व्यय विवरण न देने वालों पर होगी कार्रवाई
क्या आप भी करते हैं गर्मियों में अधिक आम का सेवन, अगर हां, तो जान लीजिये इसके नुकसान  

प्रदेश सरकार हर साल बेटियों को उच्च शिक्षा के लिए देगी धनराशि, सीएम धामी ने दिए निर्देश

प्रदेश के हर जिले में कामकाजी महिला छात्रावास का किया जाएगा निर्माण
‘नंदा गौरा योजना ‘में जरूरी बदलाव के लिए किया जा रहा प्रस्ताव तैयार
देहरादून। नंदा गौरा योजना के तहत बेटियों को उच्च शिक्षा के लिए सरकार हर साल कुछ धनराशि देगी। इसके लिए नंदा गौरा योजना में बदलाव किया जाएगा। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने विभागीय अधिकारियों को इसके लिए एक महीने के भीतर विस्तृत रूपरेखा तैयार करने के निर्देश दिए हैं। प्रदेश की दो देवियों नंदा और गौरा के नाम पर शुरू की गई नंदा गौरा योजना के तहत वर्तमान में सरकार बेटियों के जन्म पर 11,000 रुपये और उसके 12वीं पास करने पर 51,000 रुपये की धनराशि देती है, लेकिन सरकार अब इस योजना में बदलाव करने जा रही है।

सरकार की मंशा है कि इस योजना को सुकन्या समृद्धि योजना से जोड़ते हुए हर साल पात्र बेटियों के खाते में कुछ धनराशि दी जाए। जो 10,000 या इससे अधिक हो सकती है। बेटियों को उच्च शिक्षा में प्रेरित करने के लिए यह धनराशि दी जाएगी, जिससे उनका उच्च शिक्षा में प्रतिभाग बढ़ेगा। वहीं, हर साल दी जाने वाली इस धनराशि से बेटियों को उच्च शिक्षा के खर्च को वहन करने में सहायता मिलेगी। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने विभागीय अधिकारियों को इस संबंध में निर्देश दिए हैं। विभागीय अधिकारियों के मुताबिक, मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद नंदा गौरा योजना में जरूरी बदलाव के लिए प्रस्ताव तैयार किया जा रहा है।

प्रस्ताव तैयार किए जाने के दौरान यह देखा जा रहा कि योजना के तहत पात्र बेटियों को उच्च शिक्षा के लिए हर साल तय धनराशि दी जाए या फिर अलग-अलग कोर्स के लिए अलग-अलग धनराशि दी जाए। प्रदेश के हर जिले में कामकाजी महिला छात्रावास का निर्माण किया जाएगा, जिसे पीपीपी मोड में संचालित करने का प्रस्ताव है। मुख्यमंत्री ने इसके लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में भूमि की उपलब्धता और इसे पीपीपी मोड में चलाने के लिए रूपरेखा तैयार करने के निर्देश दिए हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top