Breaking News
श्री काशी विश्वनाथ मंदिर परिसर में नि:शुल्क स्वास्थ्य शिविर का आयोजन, सैकड़ो मरीजों ने लिया स्वास्थ्य लाभ
ग्रामीण क्षेत्रों में प्राथमिकता पर ऋण दें सार्वजनिक सेक्टर के बैंक
शिक्षा विभाग में तैनात होंगे 599 और अतिथि शिक्षक
दिव्यांगजन दिवस- फर्जी चिकित्सा प्रमाण-पत्रों पर नौकरी करने वालों की जांच की मांग
आईएमए में पासिंग आउट परेड 14 दिसंबर को होगी आयोजित
प्रदेश के विकास में राजस्व के माध्यम से भागीदार उत्कृष्ट व्यापारी होंगे सम्मानित- वित्त मंत्री डा. प्रेमचंद अग्रवाल
मलाइका अरोड़ा ने बिखेरा हुस्न का जलवा, खुली जुल्फों में देखें स्टाइलिश फोटोज
कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने जनता दरबार के दौरान सुनी फरियादियों की समस्याएं
चौंदकोट को पिछड़ा क्षेत्र घोषित करने की मांग

125वें प्रेरण प्रशिक्षण कार्यक्रम में भाग ले रहे राज्य सिविल सेवा अधिकारियों ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से की मुलाकात

नई दिल्ली। लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासनिक अकादमी (एलबीएसएनएए) में 125वें प्रेरण प्रशिक्षण कार्यक्रम में भाग लेने वाले राज्य सिविल सेवा अधिकारियों ने  नई दिल्ली स्थित राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से भेंट की। राष्ट्रपति ने अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहा कि वे उस स्थिति में हैं जहां वे दूसरों के लिए प्रेरणा बन सकते हैं। उन्होंने कहा कि अधिकारियों द्वारा उठाया गया प्रत्येक कदम उनके आसपास के लोगों को विभाग या संगठन की प्रगति के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ देने के लिए प्रेरित कर सकता है। भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों के रूप में, उन्हें प्रशासनिक कामकाज और सरकार की नीतियों और कार्यक्रमों पर एक अखिल भारतीय परिप्रेक्ष्य विकसित करने की आवश्यकता होती है।

राष्ट्रपति ने कहा कि इन दिनों, प्रौद्योगिकी-सक्षम और जागरूक नागरिक, प्रदान की जा रही हर सेवा की उपलब्धता पर नज़र रखते हैं – चाहे वह सार्वजनिक हो या निजी। ये अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्नों के दिन हैं और सेवा प्रदाता सक्रिय रूप से प्रश्नों का उत्तर देते हैं और ग्राहकों को संतुष्ट करने का पूरा प्रयास करते हैं। उन्होंने कहा कि अधिकारियों को डिजिटल प्रशासन की इस बदलती दुनिया को अपनाना होगा और उसके अनुसार अपनी क्षमताओं को बढ़ाना होगा। उन्होंने कुशल और स्मार्ट प्रशासन के लिए आर्टिफिशियल इंटैलीजेंस (एआई), ब्लॉकचेन और बिग डेटा एनालिटिक्स जैसी नवीनतम प्रौद्योगिकियों का उपयोग करने का आग्रह किया।

राष्ट्रपति ने कहा कि यह वह समय है जब सहयोग और अनुकूलन समय की मांग है। उन्होंने कहा कि कम समय अवधि में वांछित परिणाम प्राप्त करने के लिए संगठनात्मक, राज्य, राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर विभिन्न हितधारकों के बीच सहयोग आवश्यक है। इसी तरह, समृद्ध और विविध अनुभवों के साथ नए विचारों और नई प्रौद्योगिकियों का अनुकूलन ऐसे प्रभावशाली बदलाव ला सकता है जिसकी कोई कल्पना भी नहीं कर सकता है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top